हेल्थ इन्शुरन्स लेते समय वेटिंग पीरियड का रखें ध्यान,तरह-तरह के होते हैं वेटिंग पीरियड, जानिए इसे कम करने का तरीका

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कोरोना काल के बाद हम सही अपने स्वास्थ्य को लेकर काफी सतर्क हो गए है।  और हेल्थ इन्शुरन्स पालिसी को लेके भी जागरूकता बढ़ी है। जब हम हेल्थ इंश्योरेंस लेते हैं तो कंपनियां इसके लिए कुछ शर्त रखती हैं। इन्ही में से एक शर्त होती है वेटिंग पीरियड। इसके तहत इंश्योरेंस लेने के कुछ समय बाद तक आपको हेल्थ इंश्योरेंस का लाभ नहीं मिलता है। ये अवधि 15 दिन से लेकर 4 साल तक की हो सकती है। आज की वीडियो में हम हेल्थ इन्शुरन्स में वेटिंग पीरियड के बारे में बात करेंगे।  तो चलिए शुरू करते है।

आइये सबसे पहले जानते है की क्या है वेटिंग पीरियड?

हेल्थ इंश्योरेंस पॉलिसी खरीदने का मतलब यह नहीं होता कि पॉलिसी खरीदने के पहले दिन से ही इंश्योरेंस कंपनी आपको कवर करने लगेगी। बल्कि, आपको क्लेम करने के लिए थोड़े दिन रुकना पड़ेगा। जैसा कि आप नाम से अनुमान लगा सकते हैं, ‘वेटिंग पीरियड’ वो पीरियड है जिसमें किसी को पॉलिसी के लाभों का लाभ उठाने से पहले कुछ समय इंतज़ार करने की आवश्यकता होती है। यह पूर्व-निर्धारित समय पीरियड पॉलिसी डाक्यूमेंट्स में स्पष्ट रूप से लिखा हुआ होता है। पॉलिसी शुरू होते ही वेटिंग पीरियड शुरू हो जाती है। एक हेल्थ इंश्योरेंस पॉलिसी में आमतौर पर कुछ अलग प्रकार की वेटिंग पीरियड होती है। हम उन पर एक एक कर नजर डालते हैं।

कूलिंग ऑफ पीरियड

इसे प्रारंभिक वेटिंग पीरियड भी कहा जाता है। यह वह अवधि होती है जब किसी को अपनी स्वास्थ्य बीमा पॉलिसी का लाभ उठाने से पहले सर्व करनी होती है। स्टैंडर्ड कूलिंग-ऑफ़ अवधि 30 दिन होती है। इस अवधि के दौरान यदि आप बीमारी के कारण किसी भी अस्पताल में भर्ती होते हैं तो इसका क्लेम नहीं कर पाएंगे। हालांकि, आपको यह जरूर पता होना चाहिए कि आप शुरुआती दिन से ही दुर्घटनाओं के कारण अस्पताल में भर्ती होने का दावा कर सकते हैं। मतलब यह कि 30 दिनों का वेटिंग पीरियड आकस्मिक रूप से अस्पताल में भर्ती होने पर लागू नहीं होती है।

पहले से मौजूद बीमारियों के लिए वेटिंग पीरियड

पहले से मौजूद बीमारियां उन बीमारियों या हेल्थ कंडीशन को बताती हैं जो पॉलिसीधारक को स्वास्थ्य बीमा खरीदने से पहले होती हैं। स्वास्थ्य बीमा खरीदने से पहले आपको जिस भी बीमारी का पता चला है, उसे ‘पहले से मौजूद’ बीमारी माना जाएगा। ब्लड प्रेशर , डॉयबिटीज़, थायरॉयड और अस्थमा जैसी बीमारियां इस लिस्ट का हिस्सा होती हैं। इन बीमारियों के लिए वेटिंग पीरियड आमतौर पर 2 से 4 साल तक होता है।

विशेष रोग वेटिंग पीरियड

बीमा कंपनियां हर्निया, मोतियाबिंद और ज्वाइंट रिप्लेसमेंट, कैंसर सर्जरी जैसी कुछ बीमारियों पर वेटिंग पीरियड लगाते हैं। यह वेटिंग पीरियड 2 से 4 वर्ष तक होता है। प्रत्येक बीमाकर्ता के पास उन बीमारियों की लिस्ट होती है जिनके लिए बीमाधारक को वेटिंग पीरियड पूरी करनी होती है। पॉलिसी दस्तावेज़ में इस लिस्ट का स्पष्ट रूप से उल्लेख किया जाता है। प्रत्येक बीमारी के लिए वेटिंग पीरियड का भी स्पष्ट रूप से उल्लेख किया जाता है।

मातृत्व लाभ के लिए वेटिंग पीरियड

सभी हेल्थ इंश्योरेंस आपको मैटरनिटी (मातृत्व) का फायदा नहीं देती हैं, और जो मैटरनिटी लाभ हैं वे 12-36 महीनों के वोटिंग पीरियड के साथ आते हैं। प्रेगनेंसी के लिए भी वेटिंग पीरियड से जुड़े नियम अलग-अलग होते हैं। हेल्थ इंश्योरेंस पॉलिसी में मातृत्व कवर (Maternity Benefit) का वेटिंग पीरियड आमतौर पर 9 महीने से लेकर 6 वर्ष तक का होता है। इसका मतलब है कि आप निर्धारित अवधि पूरी होने के बाद ही मातृत्व संबंधी दावे दर्ज कर सकेंगी।

मानसिक बीमारी के लिए वेटिंग पीरियड

मानसिक बीमारी अनिवार्य रूप से रेगुलेटर द्वारा जारी गाइडलाइंस के अनुसार स्वास्थ्य बीमा के तहत कवर की जाती है। ऐसी बीमारी के लिए वेटिंग पीरियड आमतौर पर 2 वर्ष होती है। हालाँकि यह यह एक बीमा कंपनी से दूसरी बीमा कंपनी में भिन्न हो सकता है और इसका उल्लेख पॉलिसी दस्तावेज़ में किया जाता है। तो आपको पालिसी डाक्यूमेंट्स अच्छे से पढ़ने चाहिए।

क्या वेटिंग पीरियड कम करने का कोई तरीका है?

जी हां, आप अतिरिक्त प्रीमियम का भुगतान करके कुछ वेटिंग पीरियड को कम कर सकते हैं। आप कितनी कमी प्राप्त कर सकते हैं, यह अलग अलग बीमा कंपनियों और प्रोडक्ट में भिन्न भिन्न होता है। इसके लिए आप अपने बीमाकर्ता से संपर्क कर सकते हैं और अतिरिक्त प्रीमियम का भुगतान करके कम वेटिंग पीरियड का लाभ उठा सकते हैं। और हर पीरियड के लिए अलग प्रोविशंस है।  जैसे की अगर आपको लगता है की आपको मैटरनिटी क्लेम २ साल में करना होगा तो आप उसी अकॉर्डिंग प्लान करके अपनी पालिसी खरीदिये।

तो दोस्तों ये हमने आपको बताया की कितनी तरह के वेटिंग पीरियड होते है हेल्थ इन्शुरन्स पॉलिसीस में और कैसे आप इन्हे कम कर सकते है।  तो उम्मीद करते है की आपको आज की जानकारी अच्छी लगी होगी। 

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